कोयल की मीठी बोली है sachi shayeri
कोयल की मीठी बोली है sachi shayeri,
Shayeri 1:
मीठी बोली वाली कोयल,
किसी को जगाया, किसी को सुलाया, कोयल की कुहुक ने दिल तक पहुँचाया। वो काली सूरत, मगर मीठा सुर,
उसकी आवाज में बसी है हर पल की शांति और हुर।"
कोयल की आवाज जितनी मधुर होती है, उतनी ही उसकी पहचान भी खास होती है। ये शायरी कोयल की सादगी और उसकी मधुर वाणी को दर्शाती है।
Shayeri 2:
वसंत की रानी कोयल,
आया वसंत, खिली हर डाली, कुहुक उठी कोयल काली।
उसकी सदा ने भरा है जीवन, हर दिल में जगाया स्नेह और सावन।"
जब वसंत आता है, तब कोयल की आवाज जैसे प्रकृति को नया जीवन देती है।
Shayeri 3
प्रेम का संदेश,
कोयल की बोली ने जब दिया पैगाम, दिल ने भी कर लिया तेरा ही नाम। वो गाती रही, मैं सुनता गया,
पल में ही तुझमें खुद को बुनता गया।"
कोयल की आवाज कई बार प्रेमियों के दिलों की बात बन जाती है।
Shayeri 4:
अकेलेपन में कोयल,
चुप है जहां, सन्नाटा सा है, कोयल की आवाज में कुछ खासा है। तन्हा रातों में देती है साथ,
जैसे दिल को मिल गया हो कोई राज़ की बात।"
जब सबकुछ शांत होता है, तब कोयल की आवाज एक साथी बन जाती है।
Shayeri 5:
कोयल और कविता
हर शायर के कलम में है वो नाम, कोयल की बोली बनती है हर शाम। कविता, ग़ज़ल या हो कोई गीत,
बिना कोयल के सब कुछ अधूरा है बेहद फीका और मीत।"
कोयल ने शायरी और कविताओं को हमेशा एक नई ऊँचाई दी है।
हेलो दोस्तों आपको अगर शायरी पसन्द आई हो तो शेयर करें धन्यवाद 🙏
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